नई दिल्ली, 12 जनवरी (आईएएनएस)| राष्ट्रीय राजधानी में चल रहे विश्व पुस्तक मेले में कुछ प्रकाशकों को पुस्तक चोरी की समस्या का सामना करना पड़ रहा है। प्रगति मैदान में चल रहे 44वें पुस्तक मेले में 2,500 से अधिक बुक स्टॉल लगाए गए हैं।
पेंग्विन, हार्पर कोलिन्स जैसे मशहूर प्रकाशकों के स्टॉल पर पाठकों की भारी भीड़ जुट रही है, जिसके कारण हरेक व्यक्ति पर नजर रखने में उन्हें परेशानी आ रही है।पेंग्विन से रंजन ने आईएएनएस से कहा, "हर दिन पुस्तक चोरी के 25 से अधिक मामले सामने आते हैं, जिनमें हम लोगों को पुस्तक चोरी करते पकड़ते हैं। हमारे पास कर्मचारियों की सीमित संख्या है और हर आगंतुक पर नजर रखना हमारे लिए संभव नहीं है। पिछले साल हमें इससे पांच लाख रुपये का नुकसान हुआ था।"पेंग्विन ने भले ही मशीन डिटेक्टर लगा रखा है, लेकिन पब्लिशिंग हाउस के मुताबिक इसके बावजूद लोग पुस्तक चुराने में कामयाब हो जा रहे हैं।हार्पर कोलिंस से नीरज ने कहा, "पुस्तकों की चोरी की घटनाएं दुर्भाग्यवश हर साल सामने आती हैं, खासकर साप्ताहांत के दिन। आयोजक भी इस मुद्दे से अवगत हैं, लेकिन उन्होंने इस मुद्दे के समाधान के लिए कोई कदम नहीं उठाया है।"स्पीकिंग टाइगर से जितेंद्र नागर ने कहा, "पुस्तक मेला खत्म होने के बाद हम पुस्तकों की गिनती करते हैं, जिसमें चोरी होने वाले पुस्तकों की वास्तविक संख्या का पता हमें चल पाता है।"आयोजकों के मुताबिक, परिसर के भीतर सीसीटीवी कैमरे लगे हैं और आईटीपीओ के अधिकारी वीडियो पर नजर भी रख रहे हैं।मेले की आयोजक कंचन ने कहा, "परिसर के अंदर पुलिस की गाड़ी लगी है, जहां दुकानदार आकर शिकायत कर सकते हैं। लेकिन प्रत्येक व्यक्ति पर नजर रखना संभव नहीं है और ऐसी घटनाएं हर साल होती हैं।"पुस्तक मेला सात जनवरी को शुरू हुआ है, जो 15 जनवरी, 2017 को खत्म होगा।--आईएएनएस
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