संस्था के कर्मचारियों और वहां मौजूद ग्राहकों के मुताबिक पांच नकाबपोश हथियार बंद आरोपी अचानक ऑफिस में घुस आए। उन्होंने बंदूक की नोक पर पहले तो मेन गेट को लॉक किया फिर मौजूद चार ग्राहकों को जमीन में बैठा दिया और संस्था के चारों कर्मचारियों को हथियार के दम पर कैश रूम में ले गए। आरोपियों ने लगभग ढाई करोड़ रूपये का सोना व एक लाख तीस हजार रुपये नगद पर डाका डाला है।
घटना के संबंध में संस्था के मैनेजर जगदंबा पाण्डेय ने बताया कि रोजाना की तरह कर्मचारी अपने काम में लगे थे और ग्राहक अपनी किश्त पटाने के लिए काउंटर में खड़े थे। पहले दो नकाबपोश हथियारबंद लोग सीधे काउंटर के अंदर की तरफ आए और मुझसे धक्का मुक्की करने लगे और मोबाइल की सिम और बैटरी निकालने के दौरान तीन और लोग दफ्तर के अंदर आए। मैनेजर के साथ मौजूद चार कर्मचारियों को कैश रूम के अंदर ले गए और कैश रूम में रखे ढाई करोड़ रुपये का सोना व एक लाख तीस हजार रुपये नगद लेकर फरार हो गए।उन्होंने बताया कि आरोपियों ने सीसीटीवी का वायर काटने के बाद इंटरनेट का राउटर और सीसीटीवी की फ्लापी ड्राइव को निकालकर अपने पास रख लिये। पैसा और सोना लूटने के बाद उन्होंने ऑफिस में मौजूद दो महिला व दो पुरुष कर्मचारी समेत आठ लोगों को कैश रूम में बंधक बनाकर फरार हो गए। शहर के बीचों-बीच एक महीने के अंतराल में हुई इस बड़ी डकैती के बाद दहशत का माहौल बन गया है। लोग खुद को असुरक्षित महसूस कर रहे हंै। पिछले दिनों ग्रामीण बैंक के लॉकर को काट कर बैंक में रखा सोना पार कर दिया गया था।घटना की सूचना मिलते ही मौके पर एसपी, एएसपी, कोतवाली व गांधी नगर थाना प्रभारी, क्राइम ब्रांच की टीम मौंके पर पहुंची। जिले में चारों ओर नाकेबंदी कर दी गई है। वहीं मौके पर डाग स्क्वायड और फारेंसिक एक्सपर्ट की टीम भी पहुंची, जो कि घटना स्थल पर पड़े मोबाइल फोन व सीसीटीवी बाक्स से फिंगर प्रिंट तलाशने में जुटी है। इसके अलावा पुलिस आस-पास के दुकानों में लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज भी खंगालने में जुट गई है।घटना के संबंध में पुलिस अधीक्षक सरगुजा आर.एस.नायक का कहना है कि प्रारंभिक जांच में सीसीटीवी फुटेज के आधार पर जांच की जा रही है। फायनेंस के कर्मचारियों के मुताबिक डकैत बोल चाल की भाषा से झारखंड के लग रहे थे। आरोपियों को पकड़ने के लिए चारों ओर नाकेबंदी कर दी गई है।-- आईएएनएस
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