नई दिल्ली, 29 दिसम्बर (आईएएनएस)| नोटबंदी के बाद 500 और 1,000 रुपये के पुराने अमान्य नोटों को बैंक खातों में जमा करवाने के लिए तय अंतिम समयसीमा की पूर्व संध्या पर गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से डिजिटल लेनदेन की व्यवस्था को नकदी का अल्पकालिक विकल्प समझने की भूल न करने का आग्रह किया। प्रधानमंत्री ने पत्रिका 'इंडिया टुडे' को दिए साक्षात्कार में कहा, "डिजिटल लेनदेन को नकदी के अल्पकालिक विकल्प के तौर पर न देखा जाए। डिजिटल लेनदेन से हिसाब-किताब में सुविधा होती है और अर्थव्यवस्था के विस्तार का सही-सही पता चलता है।"
प्रधानमंत्री ने कहा, "इससे अधिक से अधिक लोग कर भी चुकाते हैं।"उल्लेखनीय है कि देश में काले धन, भ्रष्टाचार, नकली नोटों और आतंकवाद को मिलने वाले आर्थिक मदद पर लगाम लगाने के उद्देश्य से प्रधानमंत्री ने आठ नवंबर को 500 और 1,000 रुपये के पुराने नोटों को अवैध घोषित कर दिया था।नोटबंदी की घोषणा के बाद केंद्र सरकार ने डिजिटल लेनदेन को बढ़ावा देने और देश को एक ऐसी अर्थव्यवस्था बनाने के लिए जिसमें नकद लेनदेन कम से कम हो, केंद्र सरकार ने कई नीतियों की घोषणा की।प्रधानमंत्री ने पत्रिका को दिए साक्षात्कार में कहा है, "डिजिटल लेनदेन से दीर्घकाल में देश की अर्थव्यवस्था काले धन से मुक्त हो जाएगी।"--आईएएनएस
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